देहरादून/ उत्तराखंड में निकाय चुनाव की राह आखिरकार साफ हो गई है। लंबे समय से ओबीसी आरक्षण को लेकर चल रही कानूनी और प्रशासनिक प्रक्रिया अब समाप्त हो चुकी है। राज्यपाल ने ओबीसी आरक्षण संबंधी अध्यादेश को मंजूरी दे दी है, जिसके बाद राज्य में निकाय चुनाव की तैयारियों ने रफ्तार पकड़ ली है।
राज्यपाल से मंजूरी मिलने के बाद अब एकल सदस्यीय समर्पित आयोग की रिपोर्ट के आधार पर ओबीसी आरक्षण लागू किया जाएगा। बताया जा रहा है कि इस प्रक्रिया को इस महीने के अंत तक पूरा कर लिया जाएगा, जिसके बाद राज्य निर्वाचन आयोग निकाय चुनाव का शेड्यूल जारी करेगा।
राजभवन की मंजूरी के बाद प्रक्रिया तेज़—
निकाय चुनाव के लिए ओबीसी आरक्षण लागू करने हेतु शासन ने पहले विधि विभाग की राय ली थी। विधि विभाग ने कानूनी विश्लेषण के बाद इसे हरी झंडी देते हुए राजभवन को अध्यादेश पर निर्णय लेने की सलाह दी। अब, राज्यपाल की स्वीकृति के साथ ही इस प्रक्रिया को तेजी से लागू किया जाएगा।
कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने इस निर्णय पर राज्यपाल का आभार व्यक्त करते हुए कहा, “विभाग पूरी तरह से तैयार है। जल्द ही आरक्षण की अधिसूचना जारी की जाएगी, और इसके बाद आरक्षण पर आपत्तियां मांगी जाएंगी।”
अधिसूचना जल्द होने की संभावना—
सूत्रों के अनुसार, इस महीने के अंत तक निकाय चुनाव की अधिसूचना जारी हो सकती है। इसके बाद राज्य निर्वाचन आयोग चुनाव कार्यक्रम की घोषणा करेगा।
इस निर्णय से प्रदेश में निकाय चुनावों का रास्ता पूरी तरह साफ हो गया है। इस फैसले का सभी राजनीतिक दलों, उम्मीदवारों और जनता को बेसब्री से इंतजार था। अब देखना यह होगा कि निकाय चुनाव का कार्यक्रम कब जारी होता है और प्रदेश में स्थानीय शासन व्यवस्था को नई दिशा कब मिलती है।