प्रदेश महिला कांग्रेस ने भाजपा कार्यालय घेरा, भाजपा ने किया पलटवार

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प्रदेश महिला कांग्रेस ने भाजपा कार्यालय घेरा, भाजपा ने किया पलटवार

देहरादून, 3 सितंबर 2025– NARI-2025 (National Annual Report & Index on Women Safety) रिपोर्ट में देहरादून को देश के “10 सबसे असुरक्षित शहरों” में शामिल किए जाने के खिलाफ प्रदेश महिला कांग्रेस ने बुधवार को बलवीर रोड स्थित भाजपा प्रदेश कार्यालय का कूच किया। प्रदेश महिला कांग्रेस अध्यक्ष ज्योति रौतेला के नेतृत्व में कार्यकर्ता “हांडी में गौबर” लेकर प्रदर्शन कर रही थीं। पुलिस ने समर वैली स्कूल व फव्वारा चौक पर भारी बैरिकेडिंग और सुरक्षा व्यवस्था करके कांग्रेसियों को आगे नहीं बढ़ने दिया। नारेबाजी के बीच कुछ कार्यकर्ता वहीं सड़क पर धरना‐प्रदर्शन पर बैठ गईं और पूर्व मंत्री हरक सिंह रावत समेत कई कांग्रेस नेता शामिल हुए। पुलिस ने ज्योति रौतेला, उपाध्यक्ष आशा मनोरमा डोबरियाल, हरक सिंह रावत सहित अन्य कांग्रेसियों को हिरासत में लिया, जिन्हें बाद में रिहा कर दिया गया।

कांग्रेस का आरोप:

  • एनसीआरबी की रिपोर्ट के अनुसार ₹4,337 महिला अपराध के मामले 2022 में राज्य में दर्ज हुए हैं।

  • ज्योति रौतेला ने कहा कि पिछले तीन वर्षों में 10,000 से अधिक महिलाएं गुमशुदा, और 2,500 से अधिक दुष्कर्म व उत्पीड़न के शिकार बनीं।

  • NARI-२०२५ की रिपोर्ट को कांग्रेस ने सरकार की “महिला सुरक्षा विफलता” प्रस्तुत करने वाली घटना बताया.

भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने कांग्रेस के प्रदर्शन और रिपोर्ट पर तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने आरोप लगाया कि “NARI-2025” सर्वे को कांग्रेस ने ही वित्तपोषित किया है, और कांग्रेस इसे राजनीतिक लाभ के लिए हाइप कर रही है। यह रिपोर्ट व्यावसायिक निजी संस्था “PValue Analytics” द्वारा तैयार की गई थी, न कि सरकारी आयोग द्वारा। भाजपा महिला मोर्चा की अध्यक्ष आशा नौटियाल ने कहा कि ये प्रदर्शन वास्तविक महिलाओं की सुरक्षा नहीं, बल्कि राजनीतिक तमाशा है। भाजपा सरकार मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में महिला सुरक्षा के उपाय लगातार कर रही है।

पुलिस और आयोग की प्रतिक्रिया:

  • देहरादून पुलिस ने PValue Analytics को नोटिस जारी करते हुए रिपोर्ट में उपयोग किए गए डेटा की सत्यता तीन दिनों में प्रस्तुत करने को कहा है। पुलिस ने रिपोर्ट के निष्कर्ष को “छोटे नमूने (लगभग 400 महिलाओं का सर्वे)” पर आधारित बताया, जिसे पूरे शहर की स्थिति के प्रतिनिधि नहीं माना जा सकता।

  • उत्तराखंड राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष कुसुम कंदवाल ने रिपोर्ट को “राज्य की छवि को धूमिल करने वाला” बताया। उन्होंने स्पष्ट किया कि NARI-2025 कोई सरकारी सर्वे नहीं है, और आयोग ने ऐसा कोई सर्वे नहीं किया है।

पक्ष मुख्य दावा
कांग्रेस देहरादून में महिलाओं पर अपराध बुरी तरह बढ़े, सरकार निष्क्रिय
भाजपा रिपोर्ट कांग्रेस द्वारा ही वित्तपोषित, प्रदर्शन राजनीतिक रूप से प्रेरित
पुलिस सर्वे की आधारशिला कमजोर, जांच जारी
महिला आयोग रिपोर्ट निजी संस्था द्वारा, राज्य की वास्तविक स्थिति का प्रतिबिंब नहीं

यह घटना न केवल राजधानी देहरादून में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर बड़ी बहस का कारण बनी है, बल्कि राजनीतिक दृष्टि से भी दोनों पक्षों के बीच टकराव को तेज कर गई है। प्रदर्शन, गिरफ्तारी और प्रेस बयानों के बाद अब सरकारी जांच और मीडिया रिपोर्टिंग पर सबकी नजर टिकी हुई है।

NOTE- जानकारियां विभिन्न मीडिया श्रोत से ली गयी हैं.


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