हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल विश्वविद्यालय में राज्य ही नहीं वरन देशभर से छात्र यहां पढ़ने के लिए आते हैं। ऐसे में हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल विश्वविद्यालय और उससे सम्बद्ध कॉलेजों के 41 हज़ार से अधिक छात्र-छात्राओं के लिए राहत भरी खबर है। विश्वविद्यालय ने फाइनल ईयर की परीक्षाएं फिलहाल स्थगित करने का फैसला किया है। इन परीक्षाओं के लिए 5 हज़ार से अधिक छात्र-छात्रा अन्य राज्यों के हैं इनमे से बहुत से छात्र-छात्रा इस दौरान कोविड-19 का टेस्ट कराने के बाद यहां पहुंच भी गए हैं और क्वारंटीन हैं। वहीँ सुप्रीम कोर्ट में भी इस मामले पर संभवत: 26 अगस्त को फैसला आना है।
गढ़वाल विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो एनएस पंवार ने आज इस संबंध में आदेश जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि 10 सितंबर से होने वाली परीक्षाएं अगले आदेशों तक स्थगित की जाती हैं। नया परीक्षा कार्यक्रम विश्वविद्यालय द्वारा परीक्षा शुरू होने से 15 दिन पहले घोषित किया जाएगा।
कोरोना की मुश्किल के बीच परीक्षाएं कराना विश्वविद्यालय के लिए एक बड़ी चुनौती बन गयी थी। राज्य के अलग-अलग हिस्सों के साथ ही देशभर से छात्र यहां पढ़ने के लिए आते हैं। ऐसे में परीक्षा के लिए सभी छात्र-छात्राओं के ठहरने और भोजन का इंतज़ाम करना ही बड़ी मुश्किल थी, वहीँ कोरोना को देखते हुए दूसरे जिलों और प्रदेशों से आ रहे छात्रों के क्वारंटीन करने की भी समस्या थी। इससे पहले पहले श्रीनगर नगर पालिका ने भी इतने स्टुडेंट्स के आने और उनकी व्यवस्थाओं को लेकर असमर्थता जता चूका था।
गौरतलब है कि गढ़वाल के सात जिलों के करीब 41 हजार छात्र-छात्राओं ने इस इम्तिहान बैठना था। इनमे राजस्थान जम्मू-कश्मीर,पश्चिम बंगाल, बिहार,गुजरात और पूर्वोत्तर भारत के कई छात्र-छात्राएं भी शामिल हैं।
परीक्षा स्थगित करने का मुख्य कारण प्रशासन ने कोरोना महामारी बताया है,ऐसे हालात में फाइनल ईयर की परीक्षाएं और कोरोना से बचाव के इंतज़ाम करना विश्वविद्यालयों के लिए बड़ी चुनौती थी। परीक्षाएं फिलहाल स्थगित की गई हैं।नया परीक्षा कार्यक्रम विश्वविद्यालय द्वारा परीक्षा शुरू होने से 15 दिन पहले घोषित किया जाएगा।
हालांकि बहुत से छात्र पिछले सेमेस्टर के मूल्यांकन के आधार पर मार्कशीट और डिग्री देने की मांग भी कर रहे हैं।
गढ़वाल विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो एनएस पंवार ने आज इस संबंध में आदेश जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि 10 सितंबर से होने वाली परीक्षाएं अगले आदेशों तक स्थगित की जाती हैं। नया परीक्षा कार्यक्रम विश्वविद्यालय द्वारा परीक्षा शुरू होने से 15 दिन पहले घोषित किया जाएगा।
कोरोना की मुश्किल के बीच परीक्षाएं कराना विश्वविद्यालय के लिए एक बड़ी चुनौती बन गयी थी। राज्य के अलग-अलग हिस्सों के साथ ही देशभर से छात्र यहां पढ़ने के लिए आते हैं। ऐसे में परीक्षा के लिए सभी छात्र-छात्राओं के ठहरने और भोजन का इंतज़ाम करना ही बड़ी मुश्किल थी, वहीँ कोरोना को देखते हुए दूसरे जिलों और प्रदेशों से आ रहे छात्रों के क्वारंटीन करने की भी समस्या थी। इससे पहले पहले श्रीनगर नगर पालिका ने भी इतने स्टुडेंट्स के आने और उनकी व्यवस्थाओं को लेकर असमर्थता जता चूका था।
गौरतलब है कि गढ़वाल के सात जिलों के करीब 41 हजार छात्र-छात्राओं ने इस इम्तिहान बैठना था। इनमे राजस्थान जम्मू-कश्मीर,पश्चिम बंगाल, बिहार,गुजरात और पूर्वोत्तर भारत के कई छात्र-छात्राएं भी शामिल हैं।
परीक्षा स्थगित करने का मुख्य कारण प्रशासन ने कोरोना महामारी बताया है,ऐसे हालात में फाइनल ईयर की परीक्षाएं और कोरोना से बचाव के इंतज़ाम करना विश्वविद्यालयों के लिए बड़ी चुनौती थी। परीक्षाएं फिलहाल स्थगित की गई हैं।नया परीक्षा कार्यक्रम विश्वविद्यालय द्वारा परीक्षा शुरू होने से 15 दिन पहले घोषित किया जाएगा।
हालांकि बहुत से छात्र पिछले सेमेस्टर के मूल्यांकन के आधार पर मार्कशीट और डिग्री देने की मांग भी कर रहे हैं।