राज्य सचिवालय स्थित विश्वकर्मा भवन के सभागार में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में उत्तराखंड कैबिनेट की बैठक हुयी। बैठक में 20 प्रस्तावों पर चर्चा हुई और कई फैसलों पर उत्तराखंड कैबिनेट की मुहर भी लगी है। सचिव शैलेश बगोली ने कैबिनेट बैठक में लिए गए निर्णयों की जानकारी दी। बैठक में मुख्य रूप से नवीन जल विद्युत नीति प्रस्ताव पर मुहर लगी, साथ ही सचिवालय प्रशासन में 90 प्रतिशत पद सीधी भर्ती से भरे जाने का फैसला भी लिया गया है। इस दौरान हिमाचल की भांति उत्तराखंड की नई हाइड्रो पावर पॉलिसी पर कैबिनेट ने मुहर लगा दी। हाइड्रो पॉलिसी के तहत तय किया गया कि जब प्रोजेक्ट की कमीशनिंग हो जाएगी, तब से प्रोजेक्ट की शुरुआत मानी जाएगी।
कैबिनेट बैठक में लिए गए महत्वपूर्ण फैसले-
1-सचिवालय प्रशासन में 90 प्रतिशत पद सीधी भर्ती से भरे जाएंगे।
2-अब पैरोल की अनुमति डीएम से ही मिल सकेगी। अधिकतम 12 माह की पैरोल की व्यवस्था की जाएगी।
3-पीडब्ल्यूडी के ढांचे के पुनर्गठन होगा।
4-सिडकुल की पांच सड़कों को पीडब्ल्यूडी को स्थानांतरित किया जाएगा।
5-पार्किंग पॉलिसी पर भी कैबिनेट की मुहर लग गई।
6-पहाड़ में बसों को परमिट टैक्स में राहत बढ़ाकर 75 प्रतिशत की गई।
7-प्रदेश में 91 आइटीआइ में से 20 संस्थानों को कर्नाटक मॉडल पर उच्चीकृत किया जाएगा।
8-परिवहन- सिटी बस में मोटरयान कर में शत प्रतिशत छूट दी जाएगी।
9-परिवहन विभाग की प्रवर्तन कर्मचारी सेवा नियमावली में संशोधन होगा। शत प्रतिशत प्रवर्तन सिपाही के पद सीधी भर्ती से भरे जाएंगे।
10-राज्य पार्किंग नियमावली प्रख्यापित की गई।
11-रेलवे की जमीन पर मास्टर प्लान की बाध्यता नहीं रहेगी।
12-सरकारी और एडेड कॉलेजों में 12वीं तक के छात्रों को निशुल्क किताबें दी जाएंगी।
13-यूनिवर्सिटी ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी का नाम कोर यूनिवर्सिटी रखा जाएगा।
14-लखवाड़ परियोजना में विभाग ने 4 बार टेंडर निकले थे। एक ही टेंडर आया, उसे खोलने की अनुमति दी गई।
15-महासू देवता और अल्मोड़ा के जागेश्वर धाम का मास्टर प्लान बनेगा।
16- दिव्यांगों को स्टाम्प ड्यूटी में 25 प्रतिशत की छूट दी जाएगी।