नेपाल में विरोध प्रदर्शन का उग्र रूप: प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली का इस्तीफ़ा, संसद भवन और सिंह दरबार में आगजनी

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नेपाल में विरोध प्रदर्शन का उग्र रूप: प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली का इस्तीफ़ा, संसद भवन और सिंह दरबार में आगजनी

काठमांडू, नेपाल:
नेपाल में सामाजिक असंतोष और राजनीतिक विवादों के बीच सरकार विरोधी प्रदर्शन मंगलवार को हिंसक रूप धारण कर गया। प्रदर्शनकारियों ने काठमांडू में सिंह दरबार और संसद भवन पर हमला करके उन्हें आग के हवाले कर दिया। राजधानी में स्थिति इतनी गंभीर हो गई कि त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे से घरेलू और अंतरराष्ट्रीय उड़ानें सुरक्षा कारणों से स्थगित कर दी गईं।

प्रधानमंत्री का इस्तीफ़ा:
गंभीर प्रदर्शनकारियों की मांगों और व्यापक हिंसा के बीच नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने अपने पद से इस्तीफ़ा दे दिया। राष्ट्रपति राम चंद्र पौडेल ने उनका इस्तीफ़ा संविधान के अनुच्छेद 77 (1) (ए) के तहत स्वीकार कर लिया। ओली ने अपने त्यागपत्र में उल्लेख किया कि यह कदम राजनीतिक समाधान तलाशने और देश में उत्पन्न असामान्य स्थिति से निपटने के लिए आवश्यक था। राष्ट्रपति की प्रेस सलाहकार के अनुसार, ओली अब कार्यवाहक सरकार की जिम्मेदारी संभालेंगे, जबकि आगे की प्रक्रिया के लिए परामर्श शुरू कर दिया गया है।

हिंसक घटनाक्रम:
प्रदर्शनकारियों ने सिंह दरबार और संसद भवन के परिसर में प्रवेश कर आगजनी और तोड़फोड़ की। प्रधानमंत्री ओली और पूर्व प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा के आवास सहित कई प्रमुख राजनेताओं के घर भी निशाने पर रहे। कई मंत्रियों के घरों में तोड़फोड़ और आगजनी की घटनाएं सामने आईं। सरकार के खिलाफ आक्रोशित युवाओं ने विभिन्न राजनीतिक दलों के मुख्यालयों पर भी हमले किए।

बल प्रयोग और इस्तीफ़े:
प्रदर्शनकारियों को खदेड़ने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े। प्रदर्शनकारियों की मारक प्रतिक्रिया के बीच अब तक 21 लोगों की मौत हो चुकी है। जल आपूर्ति मंत्री प्रदीप यादव, कृषि एवं पशु मंत्री राम नाथ अधिकारी, तथा गृह मंत्री रमेश लेखक ने सरकार के अत्याधिक बल प्रयोग के विरोध में इस्तीफ़ा सौंप दिया।

संकट की व्यापकता:
काठमांडू में कर्फ्यू लागू कर दिया गया था, लेकिन इसके बावजूद अलग-अलग जगहों पर प्रदर्शन और झड़पें जारी रहीं। सोशल मीडिया पर प्रधानमंत्री ओली के भक्तपुर स्थित आवास में आगजनी का वीडियो वायरल हुआ। नागरिक उड्डयन प्राधिकरण ने हवाईअड्डे पर उठते धुएं के कारण तुरंत प्रभाव से हवाई सेवा को बंद कर दिया।

नेपाल में ‘जेन ज़ी’ आंदोलन सामाजिक मीडिया पर बैन और राजनीतिक भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रहा था, जिसकी प्रमुख मांगें में प्रधानमंत्री ओली का इस्तीफ़ा भी शामिल था। बड़े पैमाने पर राजनीतिक अस्थिरता के बीच देश में एक नए प्रशासनिक समाधान की दिशा में कदम बढ़ाए जा रहे हैं।


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