आखिरकार सतपुली के सामाजिक कार्यकर्ता चैन सिंह रावत की ऊर्जा विभाग के खिलाफ शुरू की गाय मुहीम रंग लाने लगी है। उत्तराखंड के 20 लाख घरेलू बिजली उपभोक्ताओं को बड़ी राहत मिली है। यूपीसीएल के बिजली बिलों का चक्र बदलने से उपभोक्ताओं का बिल अब पहले की अपेक्षा कम आएगा।
बता दें कि सतपुली के सामाजिक कार्यकर्ता चैन सिंह रावत ने बिजली के बढ़ते बिलों के खिलाफ और ऊर्जा निगम यूपीसीएल के खराब सिस्टम के खिलाफ आवाज उठाते रहे हैं तथ्यों के आधार पर बिलिंग सिस्टम पर उन्होंने सवाल उठाए थे। नवंबर -2021 में उन्होंने उतराखंड विद्युत नियामक आयोग में लिखित शिकायत की। इस शिकायत का संज्ञान लेते हुए आयोग ने बिलिंग सिस्टम का अध्ययन किया। जिसमे पाया गया कि यूपीसीएल की लापरवाही से आम जनता पर अतिरिक्त बिजली बिल का भार बढ़ रहा है। आयोग ने चैन सिंह रावत की शिकायत के आधार पर यूपीसीएल के लिए आदेश जारी किए। इसी के बाद यूपीसीएल ने अपने सिस्टम को सुधारा और अब ऐसा करने से उपभोक्ताओं का बिजली बिल ज्यादा दरों वाले स्लैब तक नहीं पहुंच पायेगा।
गौरतलब है कि ऊर्जा निगम अब तक बिजली उपयोग करने का समय 15 दिनों से अधिक होने पर पूरे महीने का बिल तैयार करता है। भले ही बिजली का उपयोग 15 दिन ही क्यों न किया हो। इसी तरह बिजली उपयोग का समय 16 दिन या उससे अधिक 45 दिन तक होने की स्थिति में भी एक महीने का बिल जारी किया जाता है। 46 दिन या उससे अधिक 75 दिन तक दो महीने का बिल जारी किया जाता है, जिससे उपभोक्ता को स्लैब के अनुसार अधिक बिजली दरों का भुगतान करना पड़ता था।
यूपीसीएल के मुख्य अभियंता वाणिज्य जेएस कुंवर अपने एक बयान में बताते है कि अब नई बिलिंग चक्र जारी कर दी गयी है। इसमें हर महीने का बिल 25 से 35 दिन और दो महीने का बिल 55 से 65 दिन के भीतर तैयार किया जाएगा। इसमें भी जितने दिनों का “बिल” तैयार होगा, भुगतान उसी के अनुरूप तय दरों के अनुसार करना होगा। इससे उपभोक्ताओं का बिजली बिल ज्यादा दरों वाले स्लैब तक नहीं पहुंच सकेगा। इसी माह से यह व्यवस्था लागू होगी।
ऊर्जा निगम ने एक महीने में 30.417 दिन तय किए हैं। अब यदि आपका बिजली बिल 50 दिन में आता है, तो आपकी 100 यूनिट तक बिजली खर्च तय करने का सिस्टम बदल जाएगा 100 यूनिट को 50 से गुणा करने के बाद आने वाले आंकड़े को 30.417 दिन से भाग देने पर आनी वाली 164.38 यूनिट को पहला स्लैब माना जाएगा। इस तरह बिजली बिल का जो पहला स्लैब 100 यूनिट तक माना जाता है। वो 50 दिन के बिल पर पहला स्लैब 164.38 यूनिट माना जाएगा। इस तरह आम लोगों को पहले स्लैब के रूप में 64.38 यूनिट का अतिरिक्त लाभ मिलेगा। यही फार्मूला अन्य स्लैब पर भी लागू होगा। नई व्यवस्था में फिक्सड चार्ज की गणना भी हर महीने की बजाय प्रतिदिन के अनुसार होगी। ऊर्जा निगम के इस सुधार के बाद अब उपभोक्ताओं को कुछ इस तरह की राहत मिलने की उम्मीद जगी है।
यूपीसीएल का अब नया बिलिंग चक्र जारी होगा जिसमे अब हर महीने का बिल 25 से 35 दिन का बनेगा। और 2 महीने का बिल 55 से 65 दिन के भीतर होगा तैयार होगा। जितने दिनों का बिल तैयार होगा भुगतान उसी के अनुरूप तय दरों के अनुसार करना होगा
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