महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ऐसे ऐसे बयान देते रहे हैं जिससे विवाद पैदा होता रहा है। उनके एक बयान के बाद एक नया विवाद खड़ा होने को है। कोश्यारी जी ने अपने एक बयान में छत्रपति शिवाजी और बाबा भीमराव अंबेडकर की तुलना करते हुए पुराने और नए युग का आदर्श बताया है। उनके इस बयान पर कई नेताओं के बयान भी आए हैं। संभाजी ब्रिगेड के नेता संतोष शिंदे ने राज्यपाल पर महाराष्ट्र विरोधी और छत्रपति शिवाजी विरोधी होने का आरोप लगाया है।
वह डॉ. बाबासाहेब अंबेडकर मराठवाड़ा विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह में बोल रहे थे।राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने कहा, “अगर कोई आपसे पूछे कि आपका आदर्श कौन है? तो आपको उसे कहीं और खोजने की जरूरत नहीं है, वे आपको यहीं महाराष्ट्र में मिल जाएंगे। छत्रपति शिवाजी महाराज अब एक पुराने आदर्श बन गए हैं, बाबासाहेब अंबेडकर से लेकर नितिन गडकरी तक आपको नए आदर्श मिल जाएंगे।”
इतिहास के विद्वान श्रीकांत कोकाटे ने कहा कि राज्यपाल हमेशा मुद्दे से हटकर बात करते हैं जो विवादास्पद और अपमानजनक है। उन्होंने कहा, “जिस व्यक्ति ने राज्यपाल की गरिमा खो दी है वह कोश्यारी हैं। शिवाजी महाराज एक महान व्यक्ति हैं जो वर्तमान और भविष्य के इतिहास को भी प्रेरित करते हैं। वे हमेशा सभी के लिए प्रेरणा रहे हैं।”
उनके इस बयान पर कई नेताओं के बयान भी आए हैं। संभाजी ब्रिगेड के नेता संतोष शिंदे ने राज्यपाल पर महाराष्ट्र विरोधी और छत्रपति शिवाजी विरोधी होने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि छत्रपति शिवाजी महाराज साढ़े तीन सौ साल बाद भी महाराष्ट्र और देश के हर व्यक्ति की नसों में रहते हैं।
पूर्व राज्यसभा सांसद छत्रपति संभाजीराजे ने कहा, “मुझे नहीं पता कि राज्यपाल इस तरह की बात क्यों कर रहे हैं। मैंने पहले भी कहा था कि उन्हें महाराष्ट्र से भेज दें। मैं प्रधानमंत्री से हाथ जोड़कर अनुरोध करता हूं, कृपया हमें महाराष्ट्र में ऐसा व्यक्ति नहीं चाहिए। राज्यपाल छत्रपति शिवाजी महाराज और अन्य महापुरुषों एवं संतों के बारे में ऐसे विचार कैसे लेकर आ सकते हैं?” वहीं, शिवसेना उद्धव बालासाहेब ठाकरे के सांसद अनिल देसाई ने भी राज्यपाल के बयान का विरोध किया है।