महाशिवरात्रि से ठीक एक दिन पहले हाथी ने स्वर्गाश्रम क्षेत्र में आधी रात को गंगा किनारे सो रहे एक फक्कड़ साधु को पैर से कुचल कर मौत के घाट उतार दिया। इसी दौरान हाथी ने बगल में सो रहे एक दूसरे फक्कड़ पर भी हमला किया, जिससे वह घायल हो गया। उसके साथी दो साधुओं ने किसी तरह भाग कर अपनी जान बचाई है।
पुलिस ने मृतक के शव को पोस्टमार्टम के लिए एम्स ऋषिकेश भेज दिया है। घायल को अस्पताल में उपचार के लिए भर्ती कराया गया है। वहीँ हाथी की धमक से छेत्रवासियों में दहशत का माहौल है।
खबरों के अनुसार बीती देर रात यमकेश्वर के स्वर्गाश्रम क्षेत्र में सड़क किनारे कुरुक्षेत्र हरियाणा निवासी 50 वर्षीय मदन दास पुत्र अनिल दास सो रहे थे। इस दौरान हाथी की चिंघाड़ सुनकर साधु की नींद खुल गई, डर की वजह से उन्होंने आसपास सो रहे साधुओं को भी उठाना शुरू कर दिया। लेकिन इसी बीच हाथी नजदीक पहुंच गया और साधु को पैर से कुचल दिया इस कारण उनकी मौके पर ही मौत हो गई। अन्य साधुओं ने भाग कर किसी तरह अपनी जान बचाई।
लक्ष्मण झूला थाना अध्यक्ष वीरेंद्र रमोला बताते हैं कि पुलिस ने शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। मदन दास के परिजनों से संपर्क करने की कोशिश की जा रही है। बताया जा रहा है कि साधु क्षेत्र में कई सालों से सड़क किनारे ही सोता था।
बता दें कि स्वर्गाश्रम क्षेत्र में लगातार हाथी ने अपनी चहलकदमी से स्थानीय लोगों की नींद उड़ाई हुई है। कभी रिहायशी इलाके में घूमते हुए हाथी को देखा जा रहा है, तो कभी लोगों के घरों की बाउंड्रीवाल को भी हाथी नुकसान पहुंचा रहे हैं। स्थानीय लोग कई बार वन विभाग से हाथियों को रिहायशी इलाके में घुसने से रोकने के लिए मांग कर चुके हैं।
गौरतलब है की इन दिनों नीलकंठ यात्रा भी चल रही है और ऐसे में रिहायशी इलाकों में हाथियों की चहल कदमी हजारों श्रद्धालुओं की जान के लिए खतरा भी बन सकती है। इस घटना के बाद प्रशासन ऐसी घटनाओं की पुनरावर्ती होने से रोकने के लिए क्या कदम उठाता है, यह देखने वाली बात होगी।
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