रिपोर्ट: द माउंटेन स्टोरीज़,
आईपीएल 2025 की चैंपियन बनी रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की ऐतिहासिक जीत पर जश्न का माहौल मातम में बदल गया जब बेंगलुरु के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर मची भगदड़ में 11 लोगों की जान चली गई और 33 से अधिक लोग घायल हो गए।
यह घटना तब हुई जब एक लाख से भी ज़्यादा आरसीबी प्रशंसक टीम के स्वागत और जीत के जश्न में स्टेडियम के बाहर इकट्ठा हुए थे। पुलिस के अनुसार, भीड़ का दबाव इतना अधिक था कि स्टेडियम का एक गेट जब नहीं खोला गया, तब लोगों ने उसे धक्का देकर खोलने की कोशिश की। इसी दौरान भगदड़ मच गई, जो बाद में एक बड़ी त्रासदी में बदल गई।
भारी भीड़, अव्यवस्था और अनहोनी
मीडिया मीडिया श्रोतों से मिल रही जानकारी के अनुसार शासन को एक लाख लोगों की भीड़ की उम्मीद थी, लेकिन करीब दो लाख लोग एकत्र हो गए थे, जिससे हालात बेकाबू हो गए। घटना के दौरान मेट्रो स्टेशन पर भी भीड़ का जबरदस्त दबाव देखा गया। मेट्रो ट्रेनें खचाखच भरी हुई थीं, और कई लोगों को स्टेशन से बाहर निकलना पड़ा। अफरा-तफरी के बीच मेट्रो स्टेशनों को बंद करना पड़ा। ऑटोरिक्शा और टैक्सियों ने स्टेडियम तक जाने से इनकार कर दिया, और जो गए भी उन्होंने तीन किलोमीटर पहले ही यात्रियों को उतार दिया।
जश्न से पहले बारिश और फिर भगदड़
आरसीबी टीम जैसे ही पुराने एचएएल एयरपोर्ट से पहुंची, उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने स्वागत किया। फिर टीम को जुलूस के रूप में स्टेडियम ले जाया जाना था। लेकिन इस बीच अचानक बारिश शुरू हो गई और फिर भगदड़ की खबरें आने लगीं। हालात बिगड़ते देख टीम को वापस होटल भेज दिया गया।
मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री की प्रतिक्रिया
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने इस हादसे पर दुख व्यक्त करते हुए कहा, “इस त्रासदी ने जीत की खुशी को खत्म कर दिया है। मृतकों की आत्मा को शांति मिले और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं।” उन्होंने स्पष्ट किया कि भीड़ की संभावना को देखते हुए टीम को परेड की अनुमति नहीं दी गई थी। उन्होंने लोगों से अपील की कि वे अपनी सुरक्षा को सर्वोपरि रखें।
उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने कहा, “हमें इस हादसे से गहरा धक्का पहुंचा है। जीत पर गर्व है लेकिन वह किसी की जान से बड़ी नहीं हो सकती।” उन्होंने घायलों के इलाज में व्यवधान न हो इसलिए अस्पताल जाने से फिलहाल परहेज करने की बात कही।
विपक्ष का सरकार पर हमला
कर्नाटक बीजेपी ने इस हादसे के लिए कांग्रेस सरकार को ज़िम्मेदार ठहराया। बीजेपी की ओर से जारी पोस्ट में कहा गया, “सरकार की लापरवाही के कारण 7 लोगों की जान गई। कोई नियंत्रण नहीं, कोई तैयारी नहीं।” साथ ही मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री पर आरोप लगाया गया कि वे “क्रिकेटरों के साथ फोटो-ऑप में व्यस्त थे।”
भाजपा एमएलसी और विधान परिषद में नेता प्रतिपक्ष नारायणस्वामी ने इसे “सुरक्षा में गंभीर चूक” बताया और कहा कि सरकार को इस बात का अंदाज़ा ही नहीं था कि भीड़ कितनी बड़ी होगी।
अब क्या आगे?
यह हादसा सवाल खड़े करता है कि क्या इतने बड़े आयोजन के लिए प्रशासन ने पर्याप्त तैयारी की थी? जब शहर के कोने-कोने से लोग स्टेडियम की ओर उमड़ रहे थे, तब ट्रैफिक, सुरक्षा और आपातकालीन सेवाओं को किस तरह से प्रबंधित किया गया था?
इस समय जरूरत है गंभीर जांच और उत्तरदायित्व तय करने की, ताकि भविष्य में इस तरह की जीतें फिर कभी मातम में न बदलें।