उत्तराखंड में एक बार फिर 24 लाख बिजली उपभोक्ताओं को बिजली का झटका लगेगा। उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग ने बिजली दरों में 9.64 प्रतिशत की बढ़ोतरी कर दी है। ख़ास बात यह है की इस बार घरेलु उपभोक्ताओं पर भी काफी बोझ पड़ने जा रहा है। इस बार घरेलू श्रेणी में 3.44 प्रतिशत की भारी वृद्धि की गई है। बीपीएल और स्नोबाउंड उपभोक्ताओं को भी अब 10 पैसे प्रति यूनिट अधिक देने होंगे। आयोग ने समय से बिल भुगतान करने वाले उपभोक्ताओं को पहले के मुकाबले ज्यादा छूट का प्रावधान भी किया है। इसके आलावा सोलर वाटर के प्लांट लगाने वालों को भी रहत देते हुए इन्हे रिबेट देने का फैसला लिया गया है।
नए टैरिफ के अनुसार घरेलु उपभोक्ताओं के लिए सौ यूनिट तक प्रति यूनिट 25 पैसे की बढ़ोत्तरी की गयी है। हालांकि आयोग की तरफ से फिक्स चार्ज में किसी भी तरह की बड़ोतरी नहीं की गयी है। नियामक आयोग ने बिजली बिल 10 दिन के भीतर जमा करने वालों को कुछ राहत दी है। डिजिटल भुगतान करने वालों को अब 1.25 प्रतिशत के बजाए 1.50 प्रतिशत छूट मिलेगी। अन्य माध्यमों से 10 दिन के भीतर बिल जमा करने वालों को अब 0.75 प्रतिशत के बजाए 1 प्रतिशत की छूट मिलेगी। नियामक आयोग के मुताबिक, इससे उपभोक्ताओं को करीब 18 प्रतिशत प्रति वर्ष का लाभ मिलेगा।
आयोग की ओर से वित्तीय वर्ष 2022-23 में पूर्व में ही तीन बार दरों में वृद्धि का अनुमोदन कर दिया गया था, ऐसे में अब 1.79 प्रतिशत इजाफा और कर दिया गया है। ऊर्जा निगम ने नए वित्तीय वर्ष 2023-24 में 7.72 प्रतिशत दर वृद्धि और करीब साढ़े छह प्रतिशत सरचार्ज वृद्धि को जारी रखते हुए कुल 16 प्रतिशत से अधिक बढ़ोतरी का प्रस्ताव दिया था। इसके अलावा यूजेवीएनएल व पिटकुल की ओर से भी 12 प्रतिशत से अधिक वृद्धि का प्रस्ताव था। तीनों ऊर्जा निगमों (यूपीसीएल, यूजेवीएनएल और पिटकुल) ने कुल 28.57 प्रतिशत बढ़ोतरी का प्रस्ताव दिया था, जिसके सापेक्ष आयोग ने 9.64 प्रतिशत की बढ़ोतरी की है। वर्तमान में 31 मार्च तक सरचार्ज लागू है, जिसके चलते यह बढ़ोतरी 1.79 प्रतिशत है।
सभी घरेलू उपभोक्ताओं को हर महीने बिजली बिल भेजा जाएगा। आपने बिजली का कनेक्शन लेते वक्त जो भी सिक्योरिटी फीस जमा कराई होगी, अब हर साल मई माह में उसका 6.75 प्रतिशत ब्याज आपको मिलेगा। नियामक आयोग ने इस संबंध में दिशा-निर्देश जारी किए हैं। अगर उद्योगों को महीने में औसत 18 घंटे प्रतिदिन की आपूर्ति न हुई तो उन्हें फिक्स चार्ज 100 के बजाए 80 प्रतिशत देना होगा। किसानों को भी प्राइवेट ट्यूबवेल(पीटीडब्ल्यू) का बिल एक माह के भीतर जमा कराने पर पांच प्रतिशत छूट मिलेगी। बिल समय से जमा न कराने पर किसान का कनेक्शन चार माह से पहले नहीं कटेगा।
टैरिफ के प्रमुख बिंदु—
1-वर्तमान दरों में 1.79 और एक वर्ष में कुल 9.64 प्रतिशत वृद्धि।
2-फिक्स चार्ज में कोई वृद्धि नहीं।
3-चार लाख घरेलू और हिमाच्छादित उपभोक्ताओं के लिए 10 पैसे प्रति यूनिट की बढ़ोतरी।
4-2000 से अधिक मत्स्य पालकों को अब कृषि उपभोक्ता के तौर पर बिजली मिलेगी।
5-देय तिथि से पूर्व बिल का डिजिटल भुगतान करने पर 1.50 और अन्य माध्यम से भुगतान पर एक प्रतिशत छूट।
6- निजी नलकूप का बिल एक माह में जमा कराने पर पांच प्रतिशत की छूट।
7-उद्योगों को औसत 18 घंटे विद्युत आपूर्ति न होने पर बिल में 20 प्रतिशत की छूट।
किस श्रेणी में कितनी बढ़ोतरी (रुपये प्रति यूनिट)
श्रेणी- पहले दर नई दर प्रतिशत बढ़ोतरी
घरेलू- 4.98 5.33 6.98
अघरेलू- 6.95 7.74 11.41
गवर्नमेंट पब्लिक यूटिलिटी- 6.74 7.70 14.16
प्राइवेट ट्यूबवेल 2.20 2.37 7.61
एलटी इंडस्ट्रीज- 6.47 7.20 11.21
एचटी इंडस्ट्रीज- 6.54- 7.26 11.05
मिक्स लोड- 6.01 6.95 15.54
रेलवे- 5.64 6.89 22.12
ईवी चार्जिंग स्टेशन- 5.50 6.25 13.64
किस श्रेणी के कितने उपभोक्ता होंगे प्रभावित—
श्रेणी- उपभोक्ता
बीपीएल- 4,30,201
घरेलू- 19,64,440
व्यावसायिक- 2,89,867
एलटी इंडस्ट्री- 14,071
एचटी इंडस्ट्री- 2,402
प्राइवेट ट्यूबवेल- 42,718